भारत में तेजी से घट रहा है टीबी का प्रकोप, सालाना 21% की दर से कम हो रहा संक्रमण — WHO रिपोर्ट

भारत ने टीबी (क्षय रोग) के खिलाफ लड़ाई में हासिल की बड़ी सफलता

नई दिल्ली। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की ताज़ा रिपोर्ट में भारत के लिए राहत भरी खबर सामने आई है। रिपोर्ट के अनुसार, देश में टीबी (ट्यूबरकुलोसिस) के मामलों में सालाना 21% की दर से गिरावट दर्ज की जा रही है, जो वैश्विक स्तर पर सबसे तेज़ प्रगति में से एक है।

मौतों में भी आई बड़ी कमी

डब्ल्यूएचओ रिपोर्ट बताती है कि भारत की टीबी मृत्यु दर 2015 में प्रति लाख आबादी पर 28 से घटकर 2024 में 21 रह गई है। यानी बीते नौ वर्षों में टीबी से होने वाली मौतों में उल्लेखनीय कमी आई है। यह भारत सरकार के ‘टीबी मुक्त भारत अभियान’ के तहत उठाए गए ठोस कदमों का परिणाम माना जा रहा है।

सरकार के प्रयास रंग ला रहे हैं

स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, देश में टीबी की रोकथाम, जांच और उपचार के लिए कई बड़े अभियान चलाए जा रहे हैं।

‘निक्षय मित्र’ योजना के तहत लाखों मरीजों को पोषण और चिकित्सा सहायता मिल रही है।

डिजिटल हेल्थ मॉनिटरिंग सिस्टम के ज़रिए रोगियों की ट्रैकिंग और फॉलो-अप आसान हुआ है।

साथ ही, सामुदायिक भागीदारी और निजी क्षेत्र की भागीदारी ने भी टीबी उन्मूलन अभियान को गति दी है।

टीबी उन्मूलन का लक्ष्य

भारत ने वर्ष 2025 तक टीबी मुक्त देश बनने का लक्ष्य तय किया है, जो विश्व स्वास्थ्य संगठन के वैश्विक लक्ष्य (2030) से पाँच साल पहले का है। इस रिपोर्ट के अनुसार, मौजूदा प्रगति को देखते हुए भारत अपने लक्ष्य की ओर तेज़ी से बढ़ रहा है।

विशेषज्ञों की राय

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि टीबी के मामलों में यह गिरावट बताती है कि जागरूकता, समय पर जांच और मुफ्त इलाज ने सकारात्मक असर दिखाया है। हालांकि, ग्रामीण और दूरदराज़ इलाकों में अब भी बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं की जरूरत बताई
डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट से यह स्पष्ट है कि भारत टीबी उन्मूलन की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है। सरकार और समाज के संयुक्त प्रयास से जल्द ही देश टीबी मुक्त भारत का सपना साकार कर सकता है।

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