देश में आवारा कुत्तों की संख्या, टीकाकरण को लेकर सरकार की रणनीति और वर्तमान स्थिति

देश में आवारा कुत्तों की बढ़ती संख्या और रेबीज के मामलों को देखते हुए केंद्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। हाल ही में जारी आंकड़ों के अनुसार, देश में करीब 1.53 करोड़ आवारा कुत्ते हैं। सरकार का लक्ष्य है कि इनमें से 70% कुत्तों को अगले एक साल में टीकाकरण किया जाए ताकि रेबीज संक्रमण पर रोक लगाई जा सके।
इसके लिए तीन मंत्रालय—स्वास्थ्य मंत्रालय, पशुपालन मंत्रालय और शहरी विकास मंत्रालय—ने मिलकर राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को संयुक्त एडवायजरी जारी की है। इसमें कहा गया है किसभी राज्यों में आवारा और पालतू दोनों तरह के कुत्तों का व्यापक रेबीज टीकाकरण अभियान चलाया जाए।
पशु जन्म नियंत्रण (Animal Birth Control – ABC) कार्यक्रम को तेज़ी से लागू किया जाए।
शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों में निगरानी और रिपोर्टिंग व्यवस्था मजबूत की जाए।लोगों को जागरूक करने के लिए जनजागरूकता अभियान चलाए जाएं।
सरकार का मानना है कि अगर समय पर टीकाकरण और बर्थ कंट्रोल प्रोग्राम लागू किए गए तो न केवल कुत्तों की आबादी पर नियंत्रण होगा, बल्कि रेबीज जैसी जानलेवा बीमारी से भी बचाव संभव होगा।
देश में आवारा कुत्तों की संख्या, टीकाकरण को लेकर सरकार की रणनीति और वर्तमान स्थिति की बेहतर समझ मिल सके:भारत में आवारा कुत्तों की स्थिति (2012–2025 तक)2012 में देश में आवारा कुत्तों की संख्या लगभग 1.71 करोड़ थी।यह संख्या 2019 में घटकर 1.53 करोड़ रह गई ।उत्तर प्रदेश में यह संख्या 2012 में 41.79 लाख से घटकर 2019 में लगभग 20.59 लाख हो गई—सबसे अधिक कमी वाले राज्य में से एक ।कुछ हालिया अनुमानों के अनुसार, वास्तविक स्थिति इसके कहीं अधिक हो सकती है—भारत में फ्री-रेंज कुत्तों की संख्या 1.5 करोड़ से 2 करोड़ तक पहुंच सकती है ।आवारा कुत्तों के काटने और रेबीज के माम2021 में 17 लाख से अधिक मामले, जो 2023 में बढ़कर 30 लाख पार हो गए—लगभग 80% वृद्धि केवल दो साल में ।
2024 में 37 लाख से ज़्यादा काटने के मामले दर्ज किए गए, और 54 मौतें हुईं ।बच्चों और बुजुर्गों पर हमलों की संख्या विशेष रूप से चिंताजनक बनी हुई है ।
सरकार की पहल—टीकाकरण, नसबंदी और नीति-निर्देशAnimal Birth Control (ABC) Rules, 2023 को लागू किया गया है, जिसमें आवारा कुत्तों का स्टेरिलाइजेशन और रेबीज टीकाकरण शामिल है ।
स्वास्थ्य मंत्रालय: National Rabies Control Programme (NRCP) के माध्यम से रेबीज निवारण कार्यक्रम संचालित करता है—2030 तक भारत को रेबीज-मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा गया है ।
पशुपालन मंत्रालय (Animal Husbandry & Dairying): ABC कार्यान्वयन—स्टेरिलाइजेशन और टीकाकरण का कार्य इसी के अंतर्गत आता है ।
शहरी विकास (Urban Affairs): बच्चों पर स्ट्रीट कुत्तों के हमलों को रोकने और सुरक्षा उपायों की सिफारिशों को लागू करने के लिए राज्यों और नगर निकायों को एडवाइजरी जारी करता है ।
World Rabies Day (28 सितंबर) पर जागरूकता अभियान ।पशु कल्याण बोर्ड (AWBI) द्वारा सहयोग और वित्तीय सहायता:शेल्टर, एंबुलेंस, जन्म नियंत्रण और टीकाकरण कार्यक्रमों के लिए अनुदान प्रदान करता है ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

en_USEnglish