देवघर दौरे पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, पत्नी कल्पना सोरेन के साथ पहुंचे; पूर्व मंत्री बादल पत्रलेख से की मुलाकात, पिता को अर्पित की श्रद्धांजलि

देवघर, झारखंड – राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन अपनी पत्नी और विधायक कल्पना सोरेन के साथ शुक्रवार को संथाल परगना दौरे के तहत देवघर पहुंचे। मुख्यमंत्री के आगमन पर कार्यकर्ताओं और समर्थकों ने एयरपोर्ट पर पारंपरिक और जोरदार स्वागत किया। इस अवसर पर ढोल-नगाड़ों और पारंपरिक नृत्य-गीतों के साथ स्थानीय लोगों ने मुख्यमंत्री का अभिनंदन किया।

देवघर पहुंचते ही मुख्यमंत्री ने सबसे पहले पूर्व मंत्री और झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नेता बादल पत्रलेख से मुलाकात की। इस मुलाकात के दौरान उन्होंने बादल पत्रलेख के हाल ही में दिवंगत हुए पिता को श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने शोक संतप्त परिवार के प्रति संवेदना प्रकट करते हुए कहा कि दुख की इस घड़ी में सरकार और पार्टी उनके साथ खड़ी है।

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा, “बादल पत्रलेख के पिता एक समाजसेवी और प्रेरणास्रोत रहे हैं। उनका योगदान हमेशा स्मरणीय रहेगा। मैंने और कल्पना जी ने उनके निवास पर जाकर श्रद्धांजलि दी और परिवार से मिलकर सांत्वना प्रकट की।”

इसके बाद मुख्यमंत्री और उनकी पत्नी जरमुंडी के लिए रवाना हुए, जहां वे स्थानीय कार्यक्रमों में भाग लेंगे और लोगों से संवाद करेंगे। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य है संथाल परगना क्षेत्र में विकास कार्यों की समीक्षा और स्थानीय जनता की समस्याओं को सुनना। मुख्यमंत्री की यह यात्रा संथाल क्षेत्र के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाती है, जहां वे लगातार जनसंपर्क और संवाद बनाए रखने की कोशिश करते हैं।

मुख्यमंत्री के साथ यात्रा पर निकलीं कल्पना सोरेन ने भी कहा कि सरकार ग्रामीण क्षेत्रों के विकास और महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि झारखंड में महिलाओं को स्वरोजगार, शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में आगे लाने के लिए कई योजनाएं चलाई जा रही हैं, जिनका असर अब ग्रामीण स्तर पर दिखने लगा है।

मुख्यमंत्री के दौरे को लेकर स्थानीय प्रशासन ने व्यापक तैयारियां की थीं। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे और कार्यक्रम स्थलों पर सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित की गई थीं। वहीं, झामुमो कार्यकर्ताओं में इस दौरे को लेकर काफी उत्साह देखा गया।

मुख्यमंत्री का यह दौरा राजनीतिक दृष्टि से भी अहम माना जा रहा है, क्योंकि विधानसभा चुनावों के पूर्व संथाल परगना क्षेत्र को साधने की कोशिशें तेज हो चुकी हैं। ऐसे में हेमंत सोरेन का क्षेत्रीय नेताओं से संवाद और जनता से सीधा संपर्क बनाना आगामी रणनीति का हिस्सा बताया जा रहा है।

इस प्रकार मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का संथाल दौरा न केवल राजनीतिक, बल्कि सामाजिक और मानवीय दृष्टिकोण से भी खास रहा, जिसमें उन्होंने न केवल श्रद्धांजलि अर्पित की, बल्कि जनता से जुड़ने का प्रयास भी किया।

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